नशे के गिरफ्त में जकड़ते जा रहे हैं युवा पीढ़ी पुलिस प्रशासन खामोश
नगरी ब्लाक में खुलेआम गांजा दारू टैबलेट बिक्री, शासन प्रशासन की लापरवाही उजागर
नगर पंचायत नगरी भी इससे अछूता नहीं बड़ी तादात में दारू गांजा टैबलेट खुलेआम बिक रहे हैं
कागज से सिगरेट नुमा बनाकर पीते नजर आते हैं युवा
सालों से चल रहा गोरखधंधा, पुलिस की भूमिका संदिग्ध
स्थानीय सूत्रों के अनुसार, यह सालों से इसी तरह गांजा बेचने का काम चल रहा है लोगों को इसकी जानकारी है, और आश्चर्य की बात तो यह है कि पुलिस को भी शायद सब कुछ पता होने की बात कही जा रही है। फिर भी पुलिस की विफलता को उजागर करती है। नशे की गिरफ्त में युवा वर्ग, 50 से 200 तक बिक रही पुड़िया
सबसे अधिक चिंताजनक पहलू यह है कि ग्राहक सूची में अधिकतर युवा वर्ग के साथ स्कूल के छात्र-छात्राओं शामिल हैं। 50 रुपये से लेकर 200 रुपये तक की पुड़िया ये युवक खरीदते हैं, जिससे यह साफ है कि आने वाली पीढ़ी नशे की दलदल में धकेली जा रही है और समाज का भविष्य अंधकार की ओर बढ़ रहा है।
प्रशासन कब जागेगा?
इस तरह का कारोबार किसी भी सभ्य समाज के लिए शर्मनाक है। नगरी ब्लाक सहित नगर पंचायत नगरी नशे का गढ़ बनता जा रहा है और प्रशासन मूक दर्शक बना हुआ है। सवाल यह है कि –पुलिस प्रशासन क्यों इस पर पर चुप है? आज तक क्यों एक भी गांजा बेचने वालों की गिरफ्तार नहीं हुई है
क्या गांजा बेचने वालों को किसी ‘सिस्टम’ का संरक्षण प्राप्त है?
कब तक युवा पीढ़ी को इस नशे के जाल में फंसाया जाता रहेगा?
जनता और समाज अब कार्रवाई चाहता है, बहानों और चुप्पियों का वक्त खत्म हो चुका है।अब और देर नहीं करनी चाहिए, वरना जनता का विश्वास कानून से उठ जाएगा और नशे का जहर पूरे शहर में फैल जाएगा। वही नगरी क्षेत्र के बुद्ध जीवियों ने कहा कि ऐसे जहर बेचने वालों के ऊपर शक्ति से कार्रवाई की जानी चाहिए जिसमें मासूम बच्चों के साथ-साथ युवा बुजुर्ग इस नशे के गिरफ्त में आते जा रहे हैं और उनका भविष्य अंधकार में हो रहा है जिससे बचाया जा सके अब देखना है कि कितनी कार्रवाई होती है नशे के सौदागरों के ऊपर कसा जाता है नकल या फिर युवा पीढ़ी होती जाएगी बर्बाद